यौन शोषण मामले में फंसे लेक्चरर को सजा देते हुए किरोड़ीमल कॉलेज की प्रबंध समिति ने उसको किसी भी कमेटी का प्रभार देने और उसका सदस्य बनाए जाने पर पूरी तरह से रोक लगा दी है। साथ ही कॉलेज कैम्पस का आवास खाली करने का आदेश दिया है। इसके अलावा सालाना वेतन बढ़ोतरी पर भी रोक लगा दी है। समिति ने यह फैसले कॉलेज शिकायत कमेटी की रिपोर्ट के आधार पर किया हैं मालूम हो कि बीते साल जुलाई में कॉलेज की एक गेस्ट लेक्चरर समिता (काल्पनिक नाम) ने कॉलेज राजनीति शास्त्र विभाग के तत्कालीन टीचर इंचार्ज महावीर सनसनवाल पर यौन शोषण का आरोप लगाया था। सूत्रों के अनुसार शिक्षक ने गेस्ट लेक्चरर को अश्लील किताबें दीं थी। जिसके बाद गेस्ट लेक्चरर ने कॉलेज शिकायत कमेटी में शिकायत दर्ज करवाई थी। कमेटी ने इसकी जांच की जिसमें आरोप सही पाये गए। कालेज प्राचार्य डॉ भीमसेन ने बताया कि दोषी शिक्षक को अच्छे व्यवहार के लिए बांड भरने का भी आदेश दिया गया है।
ख़बर साभार राष्ट्रीय सहारा
खुशी हैं की नारी ने अपनी आवाज यौन शोषण के ख़िलाफ़ मजबूती से उठानी शुरू कर दी हैं । विश्वविद्यालय से नाता कुछ पुराना हैं मेरा क्युकी माता - पिता दोनों ने अपनी जीविका यापन के लिये यहाँ ४० वर्ष से ज्यादा बिताये हैं । रिसर्च गाइड जिस प्रकार से शोषण करते थे / हैं अपनी शिष्याओं का एक बहुत ही स्वाभाविक प्रक्रिया मानी जाती थी , और डिपार्टमेंट के हेड जिस प्रकार से टेम्पररी महिला अध्यापिकाओ से व्यवहार करते और चाहते थे आज से ३० वर्ष पहले उस पर कोई आवाज नहीं उठती थी ।
पर कब तक और क्यूँ ??? अच्छा लगा की अब इस कम्युनिटी की महिलाओ ने भी लड़ना और आगे आने वाली पीढी के लिये रास्ता साफ़ करना शुरू कर दिया हैं ।
यौन शोषण के ख़िलाफ़ आवाज उठाए क्युकी इसमे आप की नहीं जो करता हैं उसकी बदनामी हैं । सजा जरुर दिलवाए ताकि एक सबक मिलाए औरो को ।
http://www.rashtriyasahara.com/RegionalDetailFrame.aspx?newsid=75689&cityname=Delhi&vcityname=दिल्ली/एनसीआर
bahut achha laga padh kar yedelhi me hi nahi bahut se school college me ho raha hai magar maa baap ladki ke bhavishya ko le kar chup kar jaate hain aise udharan dekh kar sab me chetna jaagegi dhanyavaad
ReplyDeleteaaj naari ki dasha aur disha par aapse ek alekh vhaahoongi
आप सभी को 59वें गणतंत्र दिवस की ढेर सारी शुभकामनाएं...
ReplyDeleteजय हिंद जय भारत
सचमुच बहुत जरूरी है ऐसी घटनाओं के प्रति अपनी आवाज़ उठाना ....अगर संकोच से या डर कर कुछ न करो तो ऐसे लोगो का होसला बढ़ता है ......इसी लिए स्त्री को इन सबके ख़िलाफ़ खड़े होना ही चाहिए .....तभी स्त्री का उत्थान हो सकता है ....
ReplyDeleteअनिल कान्त
मेरा अपना जहान
आपके ब्लॉग पर आकर सुखद अनुभूति हुयी.इस गणतंत्र दिवस पर यह हार्दिक शुभकामना और विश्वास कि आपकी सृजनधर्मिता यूँ ही नित आगे बढती रहे. इस पर्व पर "शब्द शिखर'' पर मेरे आलेख "लोक चेतना में स्वाधीनता की लय'' का अवलोकन करें और यदि पसंद आये तो दो शब्दों की अपेक्षा.....!!!
ReplyDeleteसचमुच बहुत जरूरी है ऐसी घटनाओं के प्रति अपनी आवाज़ उठाना ....अगर संकोच से या डर कर कुछ न करो तो ऐसे लोगो का होसला बढ़ता है
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