April 19, 2010

ईश्वर जेसिका की आत्मा को शान्ति दे

मनु कि उम्र कैद कि सजा बरक़रार रखी गयी हैं और उम्र कैद का मतलब अब केवल १४ साल कि सजा नहीं हैं , जब तक उम्र हैं तब तक जेल हैं

जसिका लाल के परिवार को आज राहत हुई होगी कि कानून हैं ।

इस केस मे मीडिया का रोल बहुत सराहनीये रहा हैं और पब्लिक का साथ भी जसिका के परिवार के साथ ही रहा हैं हां जेठमलानी जैसे वकील जब मनु जैसे लोगो का साथ देते हैं तो अफ़सोस ही होता हैं और लगता हैं पैसा ही बहुत से लोगो का ईमान हैं ।

ईश्वर जेसिका की आत्मा को शान्ति दे

6 comments:

  1. जस्टिस पी सदासिवम और स्वतंतर कुमार की खंडपीठ ने कानून के प्रति जो आस्था पुनर्जीवित की है उसे नमन है .... 11 वर्षों के बाद न्याय मिला तो ,पर रामजेठ मलानी जैसे वकीलों के बूते न्याय सचमुच अंधा हो जाता है कभी कभी । खैर देर से ही सही इस सुखद फैसले से भरी उमस मे बारिश के फुहार की अनुभूति हो रही है ॰

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  2. der se hi sahi nyaay to mila, ramjethmalani jaise bahut se wakil nyaay ko andha karne me lage hai. iswar aise logon ke sath nyay karega.

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  3. आपके विचार अच्छे हैं पर दुखियारी आदि
    शब्द जनरली यूज करना मुझे तर्कसंगत नहीं
    लगा वैसे आप थोङा खुले नजरिये से देखे तो
    अपनी दशा के लिये नारी पुरुषों की अपेक्षा
    अधिक जिम्मेदार है . वैसे मैं आपको सलाह
    दूँगा कि नारी पुरुष की द्रष्टि त्याग कर ये देखे
    कि जीव मात्र का कल्याण कैसे हो सकता है
    क्योंकि आत्मा न पुरुष है न नारी है

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  4. राजीव कुमार कुलश्रेष्ठ

    aap ke kament kaa is post sae kyaa lena dena haen samajh nahin aaya aagey sae dhyaan dae kament karnae sae pehlae

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